दिल्ली में चुनावी शोर थमा, 70 विधानसभा सीटों पर आठ फरवरी को होगा मतदान

नई दिल्ली
दिल्ली में थमा चुनाव प्रचार

सार

  • चुनावी शोर थमा, 672 उम्मीदवारों के भाग्य का फैसला कल होगा
  • दिल्ली की 70 विधानसभा सीटों पर आठ फरवरी को होगा मतदान
  • पाक, आतंकी कैंप और हिंदू-मुस्लिम जैसे बयानों को दी गई हवा
  • आज कर्मचारियों को ईवीएम सौंपेंगे अधिकारी, कल जाएंगे बूथ पर

विस्तार

पाकिस्तान, आतंकी कैंप, हिंदू-मुस्लिम, शाहीन बाग, दंगा बवाल…और न जाने क्या-क्या आरोपों वाला चुनाव प्रचार बृहस्पतिवार शाम 6 बजे खत्म हो गया। अब चुनाव मैदान में मौजूद 672 उम्मदीवारों की किस्मत का फैसला शनिवार को होगा। 6 जनवरी को चुनाव की घोषणा होते ही दिल्ली में आदर्श आचार संहिता लागू हुई थी। 14 से 21 जनवरी तक नामांकन प्रक्रिया पूरी होने के साथ ही प्रत्याशियों ने प्रचार शुरू कर दिया। अब सभी पार्टियां सोशल मीडिया का इस्तेमाल कर मतदाताओं को लुभाने की कोशिश में रहेंगीं।

24 जनवरी से 6 फरवरी के बीच सभी राजनीतिक दलों ने प्रचार में ताकत झोंक दी। भाजपा ने कैबिनेट से लेकर मुख्यमंत्री तक को मैदान में उतार दिया। वहीं, नेताओं के सियासी बोल पर चुनाव आयोग को भी सख्त कार्रवाई करनी पड़ी। इस बार दिल्ली विधानसभा चुनाव में भड़काऊ बयानबाजी के चलते सबसे ज्यादा कार्रवाई हुई। भाजपा प्रत्याशी कपिल मिश्रा, केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर और सांसद प्रवेश वर्मा पर दो से चार दिन तक प्रतिबंध लगाया गया। आचार संहिता का उल्लंघन करने पर सबसे ज्यादा 31 एफआईआर आम आदमी पार्टी के खिलाफ दर्ज हुई हैं, जबकि नौ और छह एफआईआर क्रमश: भाजपा व कांग्रेस के खिलाफ दर्ज हुईं।दिल्ली की 70 विधानसभा सीटों पर 8 फरवरी की सुबह 8 से शाम 6 बजे तक मतदान होगा। शुक्रवार को अंतिम जांच के बाद चुनाव अधिकारी हर जिले में कर्मचारियों को ईवीएम सौंप देंगे। मतदान समय पर शुरू हो सके, इसके लिए सभी कर्मचारियों को रात में ही रोकने की व्यवस्था की गई है। शनिवार तड़के करीब चार बजे कर्मचारियों को सुरक्षा बलों के साथ मतदान केंद्रों पर रवाना किया जाएगा।

दिल्ली मुख्य निर्वाचन अधिकारी कार्यालय ने 11 जिलों में 21 स्ट्रांग रूम फाइनल कर लिए हैं। यहां मतदान के बाद ईवीएम रखी जाएंगी। निष्पक्ष एवं भयमुक्त चुनाव के लिए 22 व्यय पर्यवेक्षक, 28 सामान्य पर्यवेक्षक और 11 पुलिस पर्यवेक्षकों नियुक्त किए गए हैं। 516 इलाकों में 3841 संवेदनशील और अति संवेदनशील बूथों की पहचान हो चुकी है। यहां सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम किए गए हैं।

दिल्ली चुनाव कार्यालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि पहली बार दिल्ली के चुनाव में बूथ प्रबंधन के लिए बूथ एप की शुरुआत होगी। यह दिल्ली में 11 विधानसभाओं (हर जिले में एक) और विधानसभा संख्या 38 के कुछ मतदान बूथों पर कार्य करेगा।

बैठक, रैली सब खत्म, निगरानी शुरू

चुनाव कार्यालय के अनुसार, अब जनसभा, रैली, बैठक, जनसंपर्क आदि पर प्रतिबंध लग चुका है। सोशल मीडिया से लेकर बैठकों आदि की निगरानी भी शुरू हो चुकी है। कोई भी प्रत्याशी या कोई भी दल अब वोट मांगने की अपील नहीं करेगा।

यह है स्थिति

कुल मतदाता : 1,47,86,382
पुरुष : 81,05,236
महिला : 66,80,277
थर्ड जेंडर : 869

कुल मतदान बूथ : 13,750
संवेदनशील व अतिसंवेदनशील बूथ : 3841
मतगणना केंद्र : 27

सुरक्षा इंतजाम
दिल्ली पुलिस : 38,874
होमगार्ड : 19 हजार
अन्य कर्मचारी : एक लाख से अधिक

प्रचार थमने के बाद पार्टी कार्यालयों पर देर रात तक चली मंत्रणारात के लगभग 10 बज रहे थे। राजनीतिक पार्टियों के चुनाव कार्यालय में पदाधिकारियों और कार्यकर्ताओं का आवागमन शुरू हो गया। पंत मार्ग, गांधी नगर, राजीव भवन, डीडीयू मार्ग, पालम समेत कई राजनीतिक पार्टी के चुनाव कार्यालय पर कार्यकर्ता कुर्सी पर बैठे थके नजर आए। पता चला कि 16 दिन पदयात्रा, रैली, जनसभा, रोड शो कर कार्यकर्ता थकान मिटा रहे थे। चुनाव प्रचार थमने के बाद देर रात तक कुछ इस तरह का नजारा पार्टी दफ्तरों में नजर आया।

पंडित पंत मार्ग स्थित भाजपा के चुनाव कार्यालय में कार्यकर्ता गहन मंथन में जुटे थे। यही हाल आम आदमी पार्टी के कार्यालय व प्रदेश कांग्रेस कार्यालय में भी देखने को मिला। यहां पार्टी कार्यकर्ता चुनाव प्रचार थमने के बाद कैसे बूथ प्रबंधन करें व बृहस्पतिवार को डोर-टू-डोर कैंपन करें, इसकी मंत्रणा चल रही थी। संगठन के कार्यकर्ता अपनी तैयारी में जुटे थे तो राजनीतिक कार्यकर्ता अपनी चुनावी रणनीति तैयार कर रहे थे।

करावल नगर विधानसभा सीट से कांग्रेस प्रत्याशी अरविंद सिंह के तुकमीरपुर स्थित कार्यालय में प्रचार से लौटे कार्यकर्ता मंत्रणा करते हुए दिखें। सभी अपने-अपने तर्क रख पार्टी को जिता रहे थे। रोहताश नगर विधानसभा के कांग्रेस प्रत्याशी विपिन शर्मा के नवीन शाहदरा स्थित कार्यालय के बाहर कार्यकर्ता प्रचार करके आते दिखाई दिए।

कृष्णानगर के भाजपा प्रत्याशी डॉ. अनिल गोयल के कार्यालय में कार्यकर्ताओं का आवागमन जारी था। तीमारपुर विधानसभा के प्रत्याशी दिलीप पांडेय के चुनाव कार्यालय में भी कार्यकर्ता बृहस्पतिवार को डोर-टू-डोर कैंपेन की तैयारी करते दिखें। कार्यकर्ताओं में इस बात की चर्चा थी कि बस एक दिन की बात है, पूरी ताकत के साथ हर घर तक वोटर स्लीप पहुंचानी है। हर किसी ने अपने-अपने उम्मीदवार को जिताने का दावा किया।

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